दीपो का त्योहार आया,
हर परिवार में खुशियां छाया।
एक दूसरे से मिलने को,
अपने साथ मिठाईयां लाया।
सोन पापड़ी की है बड़ी समस्या,
फिर एक जगह से दूसरे जगह है पहुंचाना।
दूसरे मिठाई को लोग चाह कर खाते,
वही सब इन्हें सिर्फ ठिकाना है लगाते।
दीप जलाने का पर्तिस्पर्धा है लगता,
देखे कौन सबसे पहले दिए है सजाता।
किसके दिए कितने देर है जलते,
जिसके बुझे, उसे सब है चिढ़ाता।
रंग भरे रंगोली की,
सजावट रहती है काफी दर्शनीय।
सहेलियों के बीच हो जाती है प्रतियोगिता,
जो जीतता, वो होता है सबसे ज्यादा माननिय।
सब एक दूसरे को मना करते है,
फोड़ने को पटाका।
कहते है वायु प्रदूषित होती है,
फिर भी कमती नहीं आतिशबाजी।
लक्ष्मी गणेश का पूजन कर,
अपने घर, व्यापार को जगाते है।
कहीं देवी काली की पूजा कर,
दीपावली के दिन ही काली पूजा मानते है।
*****
हर परिवार में खुशियां छाया।
एक दूसरे से मिलने को,
अपने साथ मिठाईयां लाया।
सोन पापड़ी की है बड़ी समस्या,
फिर एक जगह से दूसरे जगह है पहुंचाना।
दूसरे मिठाई को लोग चाह कर खाते,
वही सब इन्हें सिर्फ ठिकाना है लगाते।
दीप जलाने का पर्तिस्पर्धा है लगता,
देखे कौन सबसे पहले दिए है सजाता।
किसके दिए कितने देर है जलते,
जिसके बुझे, उसे सब है चिढ़ाता।
रंग भरे रंगोली की,
सजावट रहती है काफी दर्शनीय।
सहेलियों के बीच हो जाती है प्रतियोगिता,
जो जीतता, वो होता है सबसे ज्यादा माननिय।
सब एक दूसरे को मना करते है,
फोड़ने को पटाका।
कहते है वायु प्रदूषित होती है,
फिर भी कमती नहीं आतिशबाजी।
लक्ष्मी गणेश का पूजन कर,
अपने घर, व्यापार को जगाते है।
कहीं देवी काली की पूजा कर,
दीपावली के दिन ही काली पूजा मानते है।
*****
#diwali #dipawali #tyohar #festival #puja #kalipuja #laxmipuja #ganeshpuja #trending #today
#writer #author #poem #poetry #hindi #hindiwriters #hindipoetry #pen #writing #writersofinstagram